शराब पीने से हुई थी किडनी खराब, लेकिन अब एक दम स्वस्थ हूँ
मेरा नाम राकेश है, आजमगढ़, उत्तर प्रदेश का रहने वाला हूँ। करीब तीन साल पहले
मेरी किडनी खराब हो गई थी, जिसके कारण मुझे बहुत सारी परेशानियों का सामना करना
पड़ा था। कई बार डायलिसिस करवाने के बाद भी मुझे रत्ती भर का आराम नहीं मिला। तबियत
में कोई सुधार आता ना देख डॉक्टर ने मुझे किडनी ट्रांसप्लांट करवाने की सलाह दे दी
थी, डॉक्टर की ये बात सुनते ही मुझे ऐसा लगा कि जैसे मेरे साथ बहुत बढ़ा धोखा हुआ
है।
मुझे शराब पीने का बहुत शौक था, मैं बिना शराब के अपने दिन के बारे में सोच भी
नहीं सकता था। मेरे इसी शौक के कारण मेरी किडनी खराब हो गई थी, जिसके बारे में
मैंने कभी भी सोचा नहीं था। मेरे घर वाले मुझे हमेशा से ही शराब पीने से मना करते
थे लेकिन मैंने उनकी बातों पर कभी ध्यान नहीं दिया। ज्यादा शराब पीने के कारण 28
की उम्र में ही मेरी तबियत खराब होने लगी, जिसके कारण मुझे कई बार हॉस्पिटल में
एडमिट करवाना पड़ा।
शुरुआत में डॉक्टर ने मुझे कहा कि अगर मैं शराब पीना नहीं छोड़ता तो मेरी मदद
कोई नहीं कर सकता। क्योंकि उस मस्य मेरा लीवर खराब होना शुरू हो चूका था, जिसके
कारण मुझे बहुत सारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा था। हॉस्पिटल से घर आने के
बाद मैंने फिर कुछ दिनों बाद शराब पीना शुरू कर दिया, जिसके चलते मेरी हालत और भी
ज्यादा खराब होने लगी। टेस्ट करवाने के बाद पता चला कि इस बार ना लीवर बल्कि किडनी
भी खराब होना शुरू हो चुकी है।
डॉक्टर ने तुरंत ही मुझे एडमिट कर लिया और किडनी की हालत जानने के लिए कई
टेस्ट करवाने को कहा। टेस्ट के बाद पता चला कि मेरी दोनों किडनियां काफी खराब हो
चुकी है, डॉक्टर के अनुसार उस समय मैं किडनी फेल्योर के स्टेज 5 पर था। जानकारी
मिलने के तुरंत बाद ही मुझे डायलिसिस करवाने के लिए कहा गया। एक दो दिनों बाद मेरा
डायलिसिस होना शुरू हो गया, मुझे समझ आ गया चूका था कि डायलिसिस ट्रीटमेंट के नाम
पर किसी टॉर्चर से कम नहीं है।
मेरी खराब हालत को देखते हुए डॉक्टर ने मुझे हर हफ्ते तीन बार डायलिसिस करवाने
को कहा, जो बाद में हफ्ते में दो बार होने लगा। मैंने तकरीबन तीन महीने तक
डायलिसिस करवाया लेकिन मुझे उससे कोई फायदा नहीं मिल रहा था। इतने दिनों में मेरी
हालत में ना के बराबर ही सुधार आया था, जबकि इन सबमें मेरा लाखो रुपया लग चूका था। इसी बीच डॉक्टर ने मुझसे किडनी ट्रांसप्लांट करवाने को कह
दिया। लेकिन मैंने इसके लिए एक दम मना कर दिया क्योंकि इतने दिनों में मुझे पता लग
चूका था कि ट्रांसप्लांट करवाने से भी कोई फायदा नहीं होने वाला है।
कुछ दिनों बाद मेरे
छोटे भाई ने मुझे आयुर्वेदिक दवाओं के बारे में बताया। उसने मुझे बताया कि दिल्ली
में कर्मा आयुर्वेदा नाम से एक आयुर्वेदिक हॉस्पिटल है, जहाँ पर बिना डायलिसिस
किये ही खराब किडनी को ठीक किया जाता है। मैंने इस बारे में नेट पर देखा तो मुझे
यकीन आया और मैंने तुरंत दिल्ली जाने का प्लान बना लिया। हम एक दो दिनों में
दिल्ली आ गए और सीधा कर्मा आयुर्वेदा पहुंचे। कर्मा आयुर्वेडा आने पर डॉक्टर पुनीत
धवन से हमारी मुलाकात हुई, यह इस अस्पताल के निदेशक है और एक जाने-माने आयुर्वेदिक
चिकित्सक है।
मैंने अपनी साडी रिपोर्ट्स
डॉ. पुनीत धवन को दिखाई, उन्होंने मेरी साडी रिपोर्ट्स को अच्छे से देखने के बाद मुझे
सबस पहले शराब छोड़ने को कहा। मैंने डॉक्टर को बताया कि मुझे अब और डायलिसिस नहीं
करवाना इसमें मुझे बहूत ज्यादा तकलीफ होती है। इस पर डॉक्टर ने मुझे कहा, “माता जी
अब आपको डायलिसिस करवाने की कोई जरूरत नहीं है”।
डॉ. पुनीत धवन ने
मुझे सात से आठ महीने तक आयुर्वेदिक दवाएं खाने को कहा। मैंने घर जाते ही उनकी दी
हुई आयुर्वेदिक दवाएं लेना शुरू कर दिया, महीने भर में ही मेरी तबियत में काफी
सुधार नज़र आने लगा। मुझे अब भूख लगने लगी और उल्टियाँ आना बंद हो चुकी थी साथ ही
सूजन एक दम चली गई थी। मैं चार महीने से पहले ही ठीक हो गई मुझे अब ना तो डायलिसिस
कि जरुरत थी और ना किडनी ट्रांसप्लांट करवाने की। इन बातों को तीन साल बीत चुके
हैं, आज मैं एक दम ठीक हूँ और मैंने शराब पीना एक दम बंद कर दिया है।